तुम्हारे साथ खूबसूरत जिंदगी जिएंगे ख्वाब देखे थे मगर सारे अरमान एक झटके में टूटकर बिखर गए तन्हा-तन्हा सा रहते हैं मन की उदासी मेरे चेहरे पर तुम्हें दिख जाएगी तुम्हारे दिए हुए हर जख्म को भूल जाने की कोशिश किया हूं तुम्हारी प्रवृत्ति ऐसी है जो तुझमें ढूंढता हूं उसका नामोनिशान तक नहीं है हर बात इशारों में कह दो किसी को इसकी खबर तक नहीं होगी मोहब्बत की दहलीज पर जबसे कदम रखा हूं हर दम बेकरार रहता हूं दिल में करार नहीं रहता तुम चाहो अगर खुशियों में जिंदगी सुकून से गुजर जाएगी मन खोया-खोया सा रहता है आपकी यादों में खुद से बातें करने की आदत हो गई है
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